उत्तराखंड के प्रांतीय रक्षक दल (पीआरडी) के प्रथम स्थापना दिवस पर रविवार को विभागीय मंत्री रेखा आर्या ने जवानों की रेतिक परेड का निरीक्षण किया। साथ ही उन्होंने पीआरडी के लोगों एवम् ध्वज का अनावरण भी किया। उन्होंने कोरोना काल में शहीद हुए जवानों के परिजनों को आर्थिक सहायता राशि भी वितरित की।
आर्या ने घोषणा की कि हम पीआरडी जवानों के लिए नवीनतम, सहायक और सशक्त करने वाले निर्णय लेंगे। साथ ही अगले स्थापना दिवस तक दुर्घटना में शहीद जवानों के परिवार को मृतकाश्रित कोटे में भर्ती करने का प्राविधान किया जाएगा। उन्होंने कहा कि हम पीआरडी कल्याण कोष को 50 लाख से बढ़ाकर 10 करोड़ किये जाने का प्राविधान कर रहे हैं। इसके साथ ही पीआरडी स्वयंसेवकों की अधिवर्षता आयु 50 से बढ़ाकर 60 वर्ष की जाएगी।
कैबिनेट मंत्री ने कहा कि हमारे पीआरडी जवानों ने कोरोना काल व चारधाम यात्रा जैसी विषम परिस्थितियों में बेहतरीन कार्य किया है। उन्होंने कहा कि मानदेय में परिवर्तन हुआ और आज हमारे जवानों को सम्मानित धनराशि मिल रही है। उन्होंने कहा कि पुलिस विभाग के सहयोग, आपदा, तीर्थ यात्रा इत्यादि में पीआरडी जवानों का बहुत बड़ा योगदान है। हमारे जवान अपने प्रदेश के अलावा पड़ोसी प्रदेशों में भी चुनाव के समय की शांति व्यवस्था का जिम्मा बखूबी निभाते हैं। हमारे जवानों का यात्रा सीजन में रुके मानदेय का भुगतान करवाने का कार्य हमारी सरकार ने किया है जिसके लिए विभाग ने पहली बार पुनर्वियोग बजट पेश कर इसके निस्तारण का कार्य किया है।
आर्या ने कहा कि हमारी सरकार पीआरडी जवानों को 300 दिनों का रोजगार प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है। अभी विभाग मे कुल 9300 जवानों की तैनाती है जिसमे महिला जवानों की संख्या लगभग 600 है, इनकी संख्या बढ़ाई जाएगी। साथ ही महिला भर्ती में न्यूनतम 30 प्रतिशत महिला कोटा निर्धारित किया जाएगा और महिला जवानों के लिए प्रसूति अवकाश की अनुमन्यता सुनिश्चित की जा रही है। इस अवसर पर, विधायक रायपुर उमेश शर्मा ‘काऊ’, विशेष प्रमुख सचिव अभिनव कुमार, निदेशक युवा कल्याण जितेंद्र सोनकर सहित अधिकारीगण एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।