यह प्लास्टिक मुक्त उत्तराखंड, प्रदेश के लिए पर्यटन की दृष्टि से भी महत्वपूर्ण होगा। निर्देश दिए कि मैन्युफैक्चरर से एक्सटेंडेड प्रोड्यूसर रिस्पांसिबिलिटी (ईपीआर) प्लान शीघ्र मांगा जाए। साथ ही इससे संबंधित नियमावली का 100 प्रतिशत अनुपालन सुनिश्चित किया जाए। मुख्य सचिव ने कहा कि प्लास्टिक कचरा प्रबंधन से जुड़े सभी विभागों को सक्रिय भूमिका निभानी होगी।
उन्होंने माउंटेनियरिंग और ट्रेकिंग रूट्स से भी प्लास्टिक कचरा निस्तारण की चेकिंग के लिए ड्रोन आदि की व्यवस्था भी सुनिश्चित करने के लिए कहा। उन्होंने ग्राम पंचायतों में कचरा प्रबंधन योजनाओं में प्लास्टिक कचरे के प्रबंधन को भी शामिल करने पर जोर दिया। शहरी निकायों को नियमावली का अनुपालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। इस मौके पर अपर मुख्य सचिव आनंद बर्द्धन, प्रमुख सचिव आरके सुधांशु आदि अधिकारी मौजूद रहे।